राजस्थान में जारी सियासी उठापटक के बीच मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से फोन पर बात की है. यह जानकारी खुद सीएम अशोक गहलोत ने दी. उन्होंने कहा कि मैंने कल पीएम मोदी से फोन पर बात की और उनको राज्यपाल कलराज मिश्र के बर्ताव के बारे में बताया. साथ ही सात दिन पहले लिखे खत के बार में भी जानकारी दी.
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत विधानसभा का सत्र बुलाना चाहते हैं, लेकिन राज्यपाल कलराज मिश्र ने इजाजत नहीं दी है. इसे लेकर सीएम गहलोत और कांग्रेस विधायकों ने राजभवन में धरना प्रदर्शन भी किया था. बावजूद इसके राज्यपाल ने सत्र बुलाने की अनुमति नहीं दी.
इसके बाद सीएम अशोक गहलोत ने कैबिनेट बैठक बुलाकर 31 जुलाई को विधानसभा का सत्र बुलाने का प्रस्ताव फिर से राज्यपाल कलराज मिश्र को भेजा. गहलोत सरकार ने कहा कि उन्हें कोरोना के मद्देनजर 6 बिल को पास कराना है. इस प्रस्ताव को भी कलराज मिश्र ने ठुकरा दिया है और सरकार से कुछ सवाल पूछे हैं.
विधानसभा सत्र को लेकर मुख्यमंत्री और राज्यपाल की लड़ाई बढ़ती जा रही है. इस बीच सीएम अशोक गहलोत की माने तो उन्होंने पीएम नरेंद्र मोदी से फोन पर बात की है और राज्यपाल कलराज मिश्र के बर्ताव के बारे में बताया है. साथ ही सात दिन पहले लिखे खत के बारे में भी जानकारी दी गई है.
पीएम मोदी को लिखी थी चिट्ठी
सीएम अशोक गहलोत ने पीएम नरेंद्र मोदी को भेजे खत में लिखा था, ‘नरेंद्र मोदी जी, मैं आपका ध्यान राज्यों में चुनी हुई सरकारों को लोकतांत्रिक मर्यादाओं के विपरीत हॉर्स ट्रेडिंग के माध्यम से गिराने के लिए किये जा रहे कुत्सित प्रयासों की ओर आकृष्ट करना चाहूंगा.’
सीएम अशोक गहलोत ने लिखा, ‘हमारे संविधान में बहुदलीय व्यवस्था के कारण राज्यों एवं केंद्र में अलग-अलग दलों की सरकारे चुनीं जाती रही है. यह हमारे लोकतंत्र की खूबसूरती ही है कि इन सरकारों ने दलगत राजनीति से ऊपर उठकर लोकहित को सर्वोपरि रखते हुए काम किया है.’