दिल्ली हिंसा: उमर खालिद को क्राइम ब्रांच ने किया गिरफ्तार

जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (Jawahar Lal Nehru Uninversity) के पूर्व छात्र उमर खालिद (Umar Khalid) को गुरुवार को क्राइम ब्रांच (Crime Branch) ने गिरफ्तार कर लिया. क्राइम ब्रांच ने यह गिरफ्तारी फरवरी में उत्तर-पूर्वी दिल्ली में हुई भीषण हिंसा (North-East Delhi Violence) में उनकी भूमिका के चलते की है. खालिद को तीन दिन के लिए हिरासत में भेज दिया गया है. पिछले सप्ताह दिल्ली की एक अदालत ने कठोर आतंकवाद रोधी कानून, गैर-कानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (UAPA)  के तहत गिरफ्तार किये गए खालिद को 22 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया था.

खालिद को 10 दिन की पुलिस हिरासत की अवधि पूरी होने के बाद वीडियो कांफ्रेंस के जरिये अदालत में पेश किया गया था. उन्हें 13 सितंबर को गिरफ्तार किया गया था और 14 सितंबर को उनसे हिरासत में पूछताछ शुरू हुई थी. चूंकि पुलिस ने उनकी और हिरासत नहीं मांगी, लिहाजा अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश अमिताभ रावत ने उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया था. साथ ही अदालत ने तिहाड़ जेल के अधीक्षक को आरोपी की सुरक्षा के लिये नियमों के अनुसार सभी जरूरी कदम उठाने का निर्देश दिया.

खालिद ने अदालत के सामने किया था ये दावा


खालिद ने अदालत के समक्ष दावा किया था कि उन्होंने पुलिस हिरासत के दौरान किसी भी तरह के दस्तावेज पर हस्ताक्षर नहीं किये हैं. उन्होंने अदालत से कहा, ‘दस दिन की पुलिस हिरासत के दौरान मैंने किसी भी तरह के दस्तावेज या बयान पर हस्ताक्षर नहीं किये हैं.’

पुलिस ने प्राथमिकी में दावा किया है कि सांप्रदायिक हिंसा ‘पूर्व-नियोजित साजिश’ थी, जिसे कथित रूप से खालिद और दो अन्य लोगों ने अंजाम दिया था. खालिद के खिलाफ राजद्रोह, हत्या, हत्या का प्रयास, धर्म के आधार पर विभिन्न समुदायों के बीच द्वेष पैदा करने और दंगा भड़काने के आरोपों के तहत मामला दर्ज किया गया है.

प्राथमिकी में आरोप लगाया गया है कि खालिद ने कथित रूप से दो अलग-अलग जगहों पर भड़काऊ भाषण दिये और लोगों से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की यात्रा के दौरान सड़कों पर उतरने और उन्हें जाम करने की अपील की ताकि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर यह दुष्प्रचार किया जा सके कि भारत में अल्पसंख्यकों पर अत्याचार किया जा रहा है.

इन लोगों ने की थी खालिद को रिहा करने की मांग


अमेरिकी भाषाविद्, दार्शनिक और इतिहासकार नोम चोम्स्की, फिल्म निर्माता मीरा नायर, अदाकारा रत्ना पाठक शाह, लेखक अमिताव घोष, सलमान रश्दी, अरुंधति रॉय और पत्रकार पी साईनाथ जैसी शिक्षा, फिल्म जगत और लेखन से जुड़ी 200 से अधिक जानी मानी प्रबुद्ध हस्तियों ने केंद्र से उत्तर-पूर्वी दिल्ली में दंगों के मामले में गिरफ्तार उमर खालिद की रिहाई की मांग की थी. 

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