आखिर यूट्यूब YouTube पर क्यों ट्रेंड कर रहे हैं Rahul Gandhi

बीते दिनों कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गाँधी ने “रेप इन इण्डिया” वाले बयान के जरिये जो कोशिश केंद्र सरकार और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को घेरने के लिए की थी उसे भारतीय जनता पार्टी उल्टा राहुल गाँधी को निशाना बनाने के लिए इस्तेमाल करने की जद्दोजहद में लगा दिया। तमाम भाजपा नेताओं ने राहुल गाँधी के इस बयान पर अपनी तीखी प्रतिक्रियाओं का अम्बार मेनस्ट्रीम मीडिया और शोशल मीडिया में लगा दिया।

कांग्रेस पार्टी और खुद राहुल गाँधी ने पुनः भाजपा के इस वार को उलट वार बनाकर काफी हद तक खुद को बचा लिया। न केवल बचा लिया बल्कि भाजपा नेत्री केंद्रीय मंत्री स्मृति जुबिन ईरानी के काफी भावों से भरे सदन में वक्तव्य भाजपा पर ही भारी पड़ते दिखाई देने लगे।

आज जबकी सीएबी CAB और एनआरसी NRC के देश भर में भारी विरोध के चलते जगह जगह आंदोलन और उपद्रव होने की खबरों से मीडिया भरा हुआ था ऐसे हाल में दिल्ली जामिया मिलिया यूनिवर्सिटी से छात्रों और पुलिस की झड़प की खबर आई तब भारत की जनता ने सभी मुख्य चैनलों पर एक ही जैसे उबाऊ बहस भरे समाचारों से इतर सोशल मीडिया का ज्यादा रुख किया।

हमारे शोशल मीडिया ट्रेंडिंग के जानकार एक्सपर्ट ने बातचीत में बताया क्योंकि आज ज्यादातर प्राइम टाइम और मुख्य चैनल एक जैसी बात करते हैं तब यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म पर विशेष परिस्थितियों में ऐसा ट्रेंडिंग पैटर्न देखने को मिल जाता है।

शोशल मीडिया ट्रेंडिंग एक्सपर्ट के अनुसार अधिकांश खबरिया चैनल सरकार के ज्यादा विरोध भरी खबरों को प्रसारित करने से बचते नजर आ रहें हैं विशेष रूप से जब से सीएबी बिल के बारे में देश में चल रहे विरोध संबंधी समाचारों को लेकर मीडिया के लिए सरकार की एडवायजरी जारी करने की खबर आई है तब ऐसे लोग जो ऐसी खबरें सुनना चाह रहे होते हैं जिनमें एकतरफा पक्ष केवल भाजपा या केंद्र की मोदी सरकार का ही न हो बल्कि विपक्षियों का या कांग्रेस का भी हो तब वे शोशल मीडिया की ओर चले जातें हैं।

विपक्ष के समर्थक स्वयं से जुड़ी खबरों को सुनने के लिए इंटरनेट की ज्यादा मदद ले रहे हैं। यही कारण है कि राहुल गाँधी से जुड़े वीडियो यूट्यूब और शोशल मीडिया में वायरल होकर ट्रेंड कर रहें हैं।

Leave a Reply